खूबसूरत भ्रम और सही पहचान

लड़का ट्रेन से उतरकर प्लेटफार्म पर चलते हुए निकास-द्वार की ओर मुड़ा ही था कि उसकी नजरें अचानक ठहर गईं। निकास-द्वार के पास एक बेहद खूबसूरत लड़की खड़ी थी, जो उसे देखते ही मुस्कराई और उसकी ओर बढ़ी।

“हाय!” लड़की ने कहा।

“हाय!” लड़के ने जवाब दिया।

“वाह, आप तो बहुत हैंडसम हैं!” लड़की ने उसका हाथ पकड़ लिया।

लड़का हैरान होकर बोला, “आप तो रीमा जी हैं न?”

लड़की ने चौंककर उसका चेहरा देखा और कहा, “रीमा? मैं रीमा-वीमा नहीं, मैं तो सीमा हूँ।”

लड़का ने जेब से एक फोटो निकालकर उसे दिखाया, “अरे, आपकी शक्ल तो इस लड़की से बिल्कुल मिलती है।”

लड़की ने फोटो को गौर से देखा और कहा, “अरे, यह लड़की मुझसे काफी मिलती है।”

लड़का लड़की के चेहरे को ध्यान से देखने लगा और बोला, “हां, ऐसा हो सकता है कि दुनिया में एक जैसी शक्ल के कई लोग हों, लेकिन एक ही शहर में ऐसा होना आश्चर्यजनक है।”

लड़की ने बात बीच में ही काटते हुए कहा, “सुनो, मैं इस शहर में बिल्कुल नई हूँ। कल शाम की ट्रेन से आई हूँ और एक होटल में ठहरी हूँ। होटल की सजावट, कमरे, नहाने-धोने की सुविधाएं, सब बहुत बढ़िया हैं। यदि तुम्हें कुछ चाहिए, फोन कर देना, सब मिल जाएगा। चलो, वहीं जाकर बैठते हैं।”

लड़के ने तुरंत हाथ छुड़ा लिया और कहा, “पागल हो क्या? वहां जाकर मेरा क्या काम?”

लड़की ने हंसते हुए कहा, “जी, मैं पागल नहीं हूँ। दरअसल, मैं कॉलगर्ल हूँ। यही मेरा पेशा है। तुम्हें पैसे नहीं देने होंगे। मुझे तुम पर दिल आ गया है, बहुत हैंडसम हो।”

लड़के ने कड़ा जवाब दिया, “मुझे कहीं नहीं जाना। मैं चलता हूँ।”

लड़की ने फिर से उसका हाथ पकड़ लिया और कहा, “कृपया मान जाओ! मेरा दिल मत तोड़ो।”

लड़का गुस्से में मोबाइल निकालकर बोला, “अगर मुझे जाने नहीं दोगी, तो पुलिस को फोन कर दूँगा।”

लड़की हँसते हुए बोली, “हा हा हा… अब आप ऐसे हँस क्यों रहे हैं? दरअसल, आप मेरे टेस्ट में पास हो गए हैं, डॉ. अजय! मैं ही डॉ. रीमा हूँ।”

लड़का हैरान रह गया। लड़की ने बताया, “मेरे मम्मी-पापा ने तो आपको देखा था, लेकिन मैंने नहीं। फोटो देखी थी, लेकिन उससे सिर्फ बात नहीं बनती। मुझे आपको अलग तरीके से देखना था। अगर आप आज थोड़ा भी झिझकते, तो मैं आपको रिजेक्ट कर देती। आज मैं बहुत खुश हूँ कि आप कैसा ‘कैरेक्टर’ हैं। यही होना चाहिए लाइफ पार्टनर का।”

लड़का हैरान और खुशी से मुस्कुराते हुए बोला, “अब आप मुझे गाड़ी में बैठाओ। वह रही आपकी फोर-व्हीलर।”

लड़का और लड़की गाड़ी की ओर बढ़ गए।

सच्ची पहचान और रिश्ते की परख दिल से की जाती है, न कि बाहरी दिखावे से

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